सोमवार, 23 फ़रवरी 2009

शुक्रिया

//दुरिताचे तिमिर जावो / विश्व स्वधर्मसुर्ये पाहो //


खुदा तू हर किसीके इतने करीब रहता है
कहींभी मैं देखूँ मुझे तू ही नजर आता है
तू है वजह बच्चोंकी मीठी मुसकानकी
तू है वजह औरतके दिलमें बसे दुलारकी
तेराही रहम है जो दोस्त हमें मिलते है
तेराही रहम है जो जिंदा हम रहते हैं
आँखें मूँद लेता हूँ ,तू दिलमें बसा होता हैं
लोगोंकी बातोंमें फ़र्मान तेरा होता हैं
शुक्रिया अल्लाह मुझे ऐसी नजर देनेका
अहसासभी नहीं होता कभी तुझसे जुदा होनेका