मंगलवार, 2 नवंबर 2010

रामा




रामा
तुझ बिन कोई मेरा ना
हो रामा तुझ बिन कोई मेरा ना

तेरी कृपा बिन जग सब सूना
खुश होकर तू सब कुछ देना
पाकर तुझको धन्य मैं होना
तुझ बिन मैं कुछभी ना
हो रामा तुझ बिन कोई मेरा ना

रामा तेरा रूप सलोना
नाम तेराही मेरा खजाना
तू परब्रह्म है मुझमें बसा तू
तुझे जगतमें पाना
हो रामा तुझ बिन कोई मेरा ना

तू दाता वैराग्यभाग्यका
तूही दाता परमशान्तिका
तेरी ख़ुशीमें मैं खुश होना
तुझमें मेरा ठिकाना
हो रामा तुझ बिन कोई मेरा ना